उत्तर प्रदेश में व्यवसायिक गतिविधियों वाले क्षेत्रों में अब विशेष सुख-सुविधा शुल्क लगेगा. सरकार अब कामर्शियल भवनों का नक्शा पास कराने वालों से विशेष सुख-सुविधा शुल्क वसूलेगी.
UP: उत्तर प्रदेश में व्यवसायिक गतिविधियों वाले क्षेत्रों में अब विशेष सुख-सुविधा शुल्क लगेगा. सरकार अब कामर्शियल भवनों का नक्शा पास कराने वालों से विशेष सुख-सुविधा शुल्क वसूलेगी. सरकार का मानना है कि बेहतर कनेक्टिविटी, रेल व परिवहन सुविधा बढ़ने से जमीन की कीमत तेजी से बढ़ रही है. ऐसी स्थिति में कामर्शियल गतिविधियां भी तेजी से बढ़ रही हैं.
राज्य सरकार मेट्रो रेल, लाइट मेट्रो रेल, क्षेत्रीय त्वरित रेल जैसी सुविधा वाले क्षेत्रों में तेजी से बढ़ रही जमीन की कीमत को देखते हुए अब व्यावसायिक भवनों का नक्शा पास कराने वालों से विशेष सुख-सुविधा शुल्क लेगी. विशेष सुख सुविधा शुल्क लेने का अधिकार आवास एवं शहरी नियोजन विभाग को होगा.यह शुल्क व्यवसायिक नक्शा पास कराने वालों से विकास प्राधिकरण वसूलेगी.
आवास विभाग का मानना है कि शहरी क्षेत्रों में गुणवत्तापूर्ण नगरीय सुविधाएं देने में इससे विकास को बढ़ावा मिलेगा और रोजगार के नए द्वार खुलेंगे.उधर, राज्य सरकार ने शहरों में कम जमीन पर अधिक ऊंची इमारत बनाने की भी सुविधा दे दी है. बिल्डर पैसे जमा कर अतिरिक्त फ्लोर यानि फ्लोर एरिया रेशियो (एफएआर) खरीद सकेंगे. मालूम हो कि आवास विभाग ने बिल्डरों या फिर किसी को भी शासनादेश के आधार पर अतिरिक्त फ्लोर खरीद कर बनाने की सुविधा दी थी, लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने इस पर रोक लगा दी थी.
ग्रेटर नोएडा में खुलेगा IIMT विश्वविद्यालय मेरठ का दूरस्थ परिसर
कोर्ट ने कहा था कि नियमावली बनाने के बाद ही इसकी वसूली की जा सकती है. इसके आधार पर आवास विभाग ने उप्र नगर योजना और विकास (क्रययोग्य एफएआर शुल्क का निर्धारण व वसूली) नियमावली बनाई, जिसे सरकार से मंजूरी मिल गई. उधर, अधिकारी/कर्मचारी सेवा नियमावली-2025 को जारी करने संबंधी प्रस्ताव को योगी सरकार ने मंजूर कर लिया. इससे राज्य आपदा प्रबंधन में लगे अधिकारियों व कर्मचारियों की सेवा शर्तें उनके अनुकूल होंगी. इसके अलावा IIMT विश्वविद्यालय मेरठ का दूरस्थ परिसर ग्रेटर नोएडा में भी खोला जाएगा.
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