CEC Appointment: देश के नए मुख्य चुनाव आयुक्त के तौर पर ज्ञानेश कुमार को नियुक्त किया गया है. आइए इनके बारे में जानते हैं
CEC Appointment: कानून मंत्रालय ने गजट नोटिफिकेशन जारी कर ज्ञानेश कुमार को देश का मुख्य चुनाव आयुक्त नियुक्त कर लिया है. वह मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार की जगह लेंगे. इस फैसला पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने मुहर लगााई है. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता वाली तीन सदस्यीय चयन समिति ने ज्ञानेश कुमार के नाम की सिफारिश की थी. इस संबंध में अधिसूचना जारी कर दी गई है. वहीं, डॉ. विवेक जोशी तीन सदस्यीय चुनाव आयोग के नए सदस्य होंगे.
2029 तक CEC रहेंगे ज्ञानेश कुमार
साल 1988 बैच के केरल कैडर के IAS अधिकारी ज्ञानेश कुमार मार्च, 2024 से ही चुनाव आयुक्त के रूप में काम कर रहे थे. उन्हें पदोन्नत किया गया है. बता दें कि उनका कार्यकाल 26 जनवरी, 2029 तक होगा. ज्ञानेश कुमार पर इस साल बिहार का विधानसभा चुनाव और अगले साल पश्चिम बंगाल, असम और तमिलनाडु का चुनाव संपन्न कराने की जिम्मेदारी होगी.
कौन हैं ज्ञानेश कुमार?
यहां बता दें कि 61 साल के ज्ञानेश कुमार पहले केंद्रीय गृह मंत्रालय का हिस्सा थे. उनकी प्रमुख जिम्मेदारियों में अगस्त 2019 में जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 370 को खत्म करने वाले विधेयक का मसौदा तैयार करने में मदद करना और पूर्ववर्ती राज्य को दो केंद्र शासित प्रदेशों में विभाजित करना शामिल था. उस वक्त वह गृह मंत्रालय में संयुक्त सचिव (कश्मीर संभाग) थे. वहीं, इसके एक साल बाद गृह मंत्रालय में अतिरिक्त सचिव के रूप में ज्ञानेश कुमार ने उत्तर प्रदेश के अयोध्या में राम मंदिर के बारे में सुप्रीम कोर्ट के मामले से संबंधित दस्तावेजों को भी संभाला. ऐसा माना जाता है कि ज्ञानेश कुमार केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के करीबी हैं. वे पिछले साल जनवरी में सहकारिता मंत्रालय के सचिव के रूप में सिविल सेवा से सेवानिवृत्त हुए, जिसका नेतृत्व भी गृहमंत्री अमित शाह करते हैं.
कैसे होता है नए मुख्य चुनाव आयुक्त का चयन?
गौरतलब है कि अभी तक सबसे वरिष्ठ चुनाव आयुक्त को ही मुख्य चुनाव आयुक्त के रूप में चुना गया है. हालांकि, पिछले साल मुख्य चुनाव आयुक्त और चुनाव आयुक्त की नियुक्तियों पर एक नया कानून लागू हुआ था. इसके तहत एक खोज समिति ने इन पदों पर नियुक्ति के लिए पांच सचिव स्तर के अधिकारियों के नामों को शॉर्ट लिस्ट किया था, ताकि प्रधानमंत्री के नेतृत्व वाली समिति उन पर विचार कर सके. पीएम, लोकसभा में नेता विपक्ष और पीएम की तरफ से नामित एक कैबिनेट मंत्री एक नाम को मंजूरी देते हैं. इसके बाद राष्ट्रपति नए मुख्य चुनाव आयुक्त की नियुक्ति करेंगी.
कांग्रेस ने जताई थी आपत्ति
इसे नियुक्ति को लेकर कांग्रेस की तरफ से प्रेस कॉन्फ्रेंस की गई थी, जिसे कांग्रेस नेता अभिषेक मनु सिंघवी और अजय माकन ने संबोधित किया था. इस दौरान कांग्रेस नेताओं ने कहा था कि मुख्य चुनाव आयुक्त की नियुक्ति को लेकर बैठक हुई. सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि 19 फरवरी को इस विषय में सुनवाई होगी और फैसला सुनाया जाएगा कि कमेटी का संविधान किस तरीके का होना चाहिए. ऐसे में बैठक को स्थगित करना चाहिए था. कांग्रेस नेता अभिषेक सिंघवी ने कहा था कि चयन समिति से भारत के मुख्य न्यायाधीश को हटाकर सरकार ने यह स्पष्ट कर दिया है कि वह चुनाव आयोग पर नियंत्रण चाहती है, न कि उसकी विश्वसनीयता को बनाए रखना चाहती है.
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