Home National असम खदान हादसे में रेस्क्यू 8वां दिन, पानी का स्तर कम करना मुश्किल, जानें क्या हैं ताजा हालात

असम खदान हादसे में रेस्क्यू 8वां दिन, पानी का स्तर कम करना मुश्किल, जानें क्या हैं ताजा हालात

by Divyansh Sharma
0 comment
Assam Coal Mine Tragedy, 8 day Rescue Operation,

Assam Coal Mine Tragedy: असम के दीमा हसाओ के कोयला खदान में अभी भी 5 मजदूर फंसे. वहीं, चार मजदूरों ने दम तोड़ दिया. उन सभी के शव बाहर निकाले जा चुके हैं.

Assam Coal Mine Tragedy: असम के दीमा हसाओ के कोयला खदान के अंदर फंसे श्रमिकों के बचने की संभावना हर बीतते दिन के साथ कम होती जा रही हैं. सोमवार को बचाव कार्य के आठवें दिन में भी खदान में से पूरी तरह से पानी नहीं निकाला जा सका है. बता दें कि खदान में अभी भी 5 मजदूर फंसे. वहीं, चार मजदूरों ने दम तोड़ दिया. उन सभी के शव बाहर निकाले जा चुके हैं.

11 जनवरी तक चार शव बरामद

घटनास्थल पर रेस्क्यू अभियान में जुटे एक अधिकारी ने सोमवार को बताया कि खदान में पानी का जलस्तर काफी कम हो गया है. फिर भी स्पष्ट नहीं है कि पानी कब पूरी तरह से साफ हो जाएगा. बता दें कि पानी के खत्म होने के बाद ही खदान के अंदर बचाव और तलाशी अभियान कब फिर से शुरू होगा. मौके पर ONGC यानी तेल एवं प्राकृतिक गैस निगम और कोल इंडिया की ओर से लाई गई विशेष पंपिंग मशीनों का उपयोग करके खदान से पानी निकाला जा रहा है.

घटनास्थल पर कार्य की निगरानी कर रहे राज्य के खान एवं खनिज मंत्री कौशिक राय ने जानकारी देते हुए बताया कि मंगलवार तक जल निकासी का काम पूरा हो सकता है. गौरतलब है कि सबसे पहले एक मजदूर का शव 8 जनवरी को बरामद हुआ था. इसके बाद 11 जनवरी को तीन अन्य शव शनिवार को बरामद किए गए थे. खदान में अभी भी 5 मजदूर फंसे हैं.

यह भी पढ़ें: पौष पूर्णिमा से Mahakumbh की शुरुआत, कल्पवासी करेंगे कल्पवास, जानें महत्व और अनुष्ठान

12 साल से बंद पड़ी थी खदान

बता दें कि खदान में पानी के अंदर विजिबिलिटी काफी कम है. ऐसे में श्रमिकों को ढूंढने में रेस्क्यू टीम को काफी मेहनत करना पड़ रही है. गौरतलब है कि यह घटना 6 फरवरी को हुई थी. दरअसल, असम के गुवाहाटी से लगभग 250 किलोमीटर दूर उमरंगशु नाम की जगह पर एक खदान के अंदर नौ श्रमिक कोयला निकालने के लिए पहुंचे थे. इसी दौरान खदान में पानी भर गया.

घटना की सूचना मिलते ही NDRF ने सेना के साथ रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू कर दिया गया था. असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने पहले दावा किया था कि यह खदान रैट माइनर्स की है. बाद में उन्होंने स्पष्ट किया कि यह खदान 12 साल पहले बंद कर दी गई थी और तीन साल पहले तक यह असम खनिज विकास निगम के अधीन थी. साथ ही खदान के मजदूरों के नेता को गिरफ्तार कर लिया गया है और पुलिस जांच कर रही है.

यह भी पढ़ें: नक्सलियों पर कहर बनकर टूट रहे जवान, बीजापुर में 3 नक्सली ढेर, IDE हमले के बाद मारे गए 6

Follow Us On: Facebook | X | LinkedIn | YouTube Instagram

You may also like

Leave a Comment

Feature Posts

Newsletter

Subscribe my Newsletter for new blog posts, tips & new photos. Let's stay updated!

@2024 Live Time. All Rights Reserved.

Are you sure want to unlock this post?
Unlock left : 0
Are you sure want to cancel subscription?
-
00:00
00:00
Update Required Flash plugin
-
00:00
00:00