Maha Kumbh 2025: महाकुंभ के आखिरी स्नान के लिए महाशिवरात्रि पर बड़ी संख्या में श्रद्धालु आधी रात से ही संगम के तट पर पहुंच रहे हैं. इस दौरान सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं.
Maha Kumbh 2025: हर हर महादेव के जयकारे के साथ देश के कोने-कोने से प्रयागराज महाकुंभ पहुंचे श्रद्धालुओं ने बुधवार को महाशिवरात्रि के अवसर पर त्रिवेणी संगम में डुबकी लगाई. महाकुंभ के आखिरी स्नान के लिए बड़ी संख्या में श्रद्धालु आधी रात से ही संगम के तट पर पहुंचने लगे थे. महाकुंभ के समापन को देखने के लिए और महाराशिवरात्रि पर पवित्र स्नान करने के लिए तीर्थयात्रियों का एक समूह नेपाल से भी आया.
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सरकार के लिए परीक्षा का दिन
महाशिवरात्रि के खास मौके पर उत्तर प्रदेश की योगी सरकार के लिए आज का दिन किसी परीक्षा से कम नहीं है. महाकुंभ के आखिरी दिन प्रयागराज में पवित्र स्नान के लिए बड़ी संख्या में श्रद्धालु पहुंच रहे हैं. वहीं, आज 2 करोड़ से ज्यादा श्रद्धालुओं के पहुंचने की संभावना है. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देशों पर मेला प्रशासन ने सभी तैयारियां पहले ही पूरी कर रखी हैं. इस कड़ी में पिछले 44 दिनों में मेले में 65 करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं की मौजूदगी ने सरकार की व्यवस्था पर सकारात्मक प्रभाव डाला है. हालांकि, विपक्ष ने संगम के जल से लेकर वहां की व्यवस्थाओं पर कई सवाल खड़े किए, लेकिन अब तक सरकार ने इन चुनौतियों का सफलतापूर्वक सामना किया गया है.
नारे लगाते नजर आए श्रद्धालु
महाकुंभ में स्नान करते समय श्रद्धालु ‘हर हर महादेव’ और ‘जय महाकाल’ के नारे लगाते हुए नजर आए. इस दौरान वह काफी उत्साह में दिखें. महाशिवरात्रि भगवान शिव और देवी पार्वती के दिव्य मिलन का प्रतीक है और कुंभ मेले के संदर्भ में इसका खास महत्व है. इस दिन बड़ी संख्या में श्रद्धालु गंगा, यमुना और सरस्वती के पवित्र संगम पर डुबकी लगाते हैं. उत्तर प्रदेश सरकार के मुताबिक, मंगलवार को संगम में कुल एक करोड़ 33 लाख श्रद्धालुओं ने डुबकी लगाई. इसके साथ ही महाकुंभ 2025 में डुबकी लगाने वाले कुल श्रद्धालुओं की संख्या 64 करोड़ से ज्यादा हो गई है.
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कब-कब हुए अमृत स्नान?
महाकुंभ में तीन अमृत स्नान और तीन विशेष स्नान तिथियां मनाई गईं. सबसे पहले 14 जनवरी को मकर संक्रांति पर, दूसरा 29 जनवरी को मौनी अमावस्या, तीसरा, 3 फरवरी को बसंत पंचमी पर अमृत स्नान हुआ. इसके अलावा 13 जनवरी को पौष पूर्णिमा, 12 फरवरी को माघी पूर्णिमा और 26 फरवरी को महाशिवरात्रि का ‘विशेष स्नान’ शामिल है. महाकुंभ के अंतिम स्नान पर सुरक्षाकर्मी हाई अलर्ट पर हैं और महाकुंभ नगर और घाटों पर बढ़ती भीड़ पर कड़ी निगरानी रख रहे हैं.
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सुरक्षा बलों की तैनाती
यहां बता दें कि पुलिस, अर्धसैनिक बलों और आपदा प्रतिक्रिया टीमों सहित कई एजेंसियों को भारी संख्या में तैनात किया गया है, ताकि भारी भीड़ को नियंत्रित किया जा सके. निगरानी के लिए ड्रोन और AI से लैस सीसीटीवी लगाए गए हैं. वहीं, आपदा प्रबंधन बलों के साथ प्रमुख बिंदुओं पर चिकित्सा दल और आपातकालीन प्रतिक्रिया इकाइयां तैनात की गई है. अधिकारियों ने मेला क्षेत्र को ‘नो व्हीकल जोन’ घोषित किया है.
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