Tahawwur Rana: 26/11 के आरोपी तहव्वुर राणा को लेकर कई खबरें सामने आ रही है. अमेरिका से प्रत्यर्पण के बाद आज उसे भारत लाया जा रहा है.
Tahawwur Rana: मुबंई में हुए 26/11 के हमलों को 17 साल पूरे हो चुके हैं. लेकिन फिर भी इसके जख्म आज भी लोगों के मन में ताजा है. ऐसे में इसके आरोपी तहव्वुर राणा को कनाडा से भारत लाया गया है. इस कड़ी में 26/11 हमले के आरोपी की बात करें तो अजमल कसाब के बाद तहव्वुर राणा ही है ऐसा आरोपी है जो जिंदा पकड़ में आया है.
दिल्ली लेकर आया जाएगा राणा
आपको बता दें कि आरोपी तहव्वुर राणा को पहले दिल्लीलाया गया है. इसके बाद से उसे NIA के मुख्यालय के उस हाई-सिक्योरिटी सेल में रखा जाएगा जहां सिर्फ ‘Special 12’ अधिकारियों के ही जाने की अनुमति होती है. इनमें डीजी एनआईए सदानंद दाते, आईजी आशीष बत्रा, डीआईजी जया रॉय जैसे अफसर शामिल हैं. यदि कोई अन्य अफसर वहां जाना चाहता है तो उसे पहले अनुमति होती है.
इंटरोगेशन सेल को किया गया तैयार
यहां आपको बता दें कि आरोपी राणा को लाने के लिए एक स्पेशल टीम का इंतजाम किया गया है. वह जैसे ही उसने दिल्ली लैंड किया है, वैसे ही उसे एनआईए के कस्टडी में सौंप दिया.
क्या है राणा का इतिहास?
गौरतलब है कि राणा को एक समय पाकिस्तानी सेना में डॉक्टर के रूप में सेवा दे चुका है, उसने अपने इमिग्रेशन कंसल्टेंसी बिजनेस के तहत आतंकियों को मुंबई में रेकी करने में मदद की थी. इस रेकी के चलते पाकिस्तानी-अमेरिकी आतंकी डेविड कोलमैन हेडली की ओर से अंजाम दिया गया था, जो इस वक्त अमेरिका की जेल में है. NIA के डोजियर की मानें तो हेडली 26/11 हमलों से पहले भारत की अपनी आठ यात्राओं के दौरान राणा के संपर्क में था और उसने उसे 231 बार फोन किया था.
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