FIBAC 2024: RBI के गवर्नर शक्तिकांत दास (Shaktikanta Das) ने इस बात पर जोर दिया कि भारत की विकास कहानी बरकरार है और बैंकों के पास मजबूत बैलेंस शीट है.
FIBAC 2024: रिजर्व बैंक (Reserve Bank of India) के गवर्नर शक्तिकांत दास (Shaktikanta Das) ने बहुत बड़ा बयान दिया है. उन्होंने कहा है कि आर्थिक क्षेत्रों और बाजारों में बड़े पैमाने पर बदलाव हो रहे हैं और देश बदलाव के लिए तैयार है. उन्होंने आगे कहा कि भारतीय अर्थव्यवस्था गति पकड़ रहा है और देश लगातार विकास पथ पर आगे बढ़ रहा है. FIBAC 2024 (Financial Institution Benchmarking and Calibration) के उद्घाटन भाषण में गुरुवार को रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास ने यह बता कही.
भारतीय अर्थव्यवस्था विकास के रास्ते पर तेजी से गतिमान
रिजर्व बैंक (RBI) के गवर्नर शक्तिकांत दास ने आगे कहा कि बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की दिशा में हमारे देश ताकत हासिल कर रहा है. इसमें देश के युवा, गतिशील आबादी, एक लचीली और विविध अर्थव्यवस्था, मजबूत लोकतंत्र और उद्यमिता (एंटरप्रेन्योरशिप) और नवाचार की परंपरा शामिल हो रही है. गवर्नर शक्तिकांत दास ने इस बात पर जोर दिया कि भारत की विकास कहानी बरकरार है और बैंकों के पास मजबूत बैलेंस शीट है. ऐसे में उन्होंने निजी क्षेत्र से बड़े पैमाने पर निवेश बढ़ाने का आह्वान किया. उन्होंने कहा कि डेटा दिखाता है कि भारतीय अर्थव्यवस्था विकास के रास्ते पर गति प्राप्त कर रहा है और वह धीमा नहीं हो रहा है. उन्होंने ने जोर देकर कहा कि इससे हमें यह कहने का विश्वास मिलता है कि भारत की विकास कहानी बरकरार है.
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विकास के लिए डिजिटल प्लेटफॉर्म तक पहुंच बढ़ाने पर जोर
अपने संबोधन शक्तिकांत दास ने कहा कि GST और IBC जैसे पिछले सुधारों ने सकारात्मक परिणाम दिए हैं. इसके साथ ही उन्होंने भूमि, श्रम और कृषि बाजारों में और सुधारों की आवश्यकता पर जोर दिया. उन्होंने यह भी स्वीकार किया कि मुद्रास्फीति (inflation) मायने रखती है, लेकिन मुद्रास्फीति और विकास के बीच अच्छा संतुलन बना हुआ है. उन्होंने कहा कि मॉनसून के अच्छे रहने पर खाद्य मुद्रास्फीति का दृष्टिकोण अधिक अनुकूल हो सकता है. वित्तीय क्षेत्र में विकास को बढ़ावा देने के लिए डिजिटल प्लेटफॉर्म तक पहुंच बढ़ानी चाहिए. महिलाओं के नेतृत्व पर भी उन्होंने विश्वास जताया. उन्होंने UIL (Unified Lending Interface) को लेकर कहा कि सही लोन के लिए प्लेटफॉर्म पर केवल विनियमित संस्थाओं को ही अनुमति दी जाएगी.
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