Home Lifestyle Andhra Pradesh News: ‘पुथारेकुलु’ है आंध्र प्रदेश की फेमस मिठाई, जिसे बेचकर पूरा गांव चलाता है आजीविका

Andhra Pradesh News: ‘पुथारेकुलु’ है आंध्र प्रदेश की फेमस मिठाई, जिसे बेचकर पूरा गांव चलाता है आजीविका

by Pooja Attri
0 comment
पुथारेकुलु है आंध्र प्रदेश की फेमस मिठाई, जिसे बेचकर पूरा गांव चलाता है आजीविका

Atreyapuram Pootharekulu: आंध्र प्रदेश का पुथारेकुलु दुनिया भर में बेहद स्वादिष्ट और लोकप्रिय है. यह एक मिठाई है जो गुड़ और चावल की पतली सी शीट में लपेटकर बनाई जाती है. पुथारेकुलु को आंध्र प्रदेश के कोनसीमा जिले के अत्रेयपुरम गांव में ग्रामीणों द्वारा तैयार किया जाता है.

26 May, 2024

GI tag for Atreyapuram Pootharekulu: आंध्र प्रदेश के कोनसीमा जिले के अत्रेयपुरम गांव के ग्रामीणों द्वारा बनाई जाने वाली मिठाई पुथारेकुलु दुनिया भर में प्रसिद्ध है. चावल के कागज से लिपटी यह स्वादिष्ट मिठाई इस क्षेत्र की एक खास मिठाई है और इसे ज्यादातर महिलाएं बनाती हैं जो भंगुर और पारदर्शी चावल की शीट बनाने का कुशल काम करती हैं. ग्रामीणों के अनुसार, गांव में सबसे पहले यह मिठाई तीन शताब्दी पहले बनाई गई थी.

‘पुथारेकुलु’ बेचकर कमाते हैं आजीविका

निर्माता पुथारेकुलु ने कहा कि ‘पीढ़ियों से, हमारा परिवार अपनी आजीविका के लिए ‘पुथारेकुलु’ बना रहा है. मेरे दादाजी उन्हें अपने समय में घर-घर जाकर बेचते थे, मेरे पिता उन्हें दुकानों में बेचते थे और हमारी पीढ़ी में हम पुथारेकुलु बनाने के लिए अपनी दुकानें चलाते हैं ग्राहक की मांग के अनुसार.’ अत्रेयापुरम के पुथारेकुलु, जिसे पिछले साल जीआई टैग मिला था, उसने गांव के कई परिवारों की मदद की है जो विभिन्न प्रकार की मिठाइयां बनाकर और बेचकर आजीविका कमाते हैं.

चाहते हैं सरकार से वित्तीय सहायता

पुथारेकुलु निर्माता साईं गणेश ने बताया, ‘दूसरों की तरह हम भी पुथारेकुलु बनाते हैं. लेकिन इस साल मैंने कुछ नया करने का फैसला किया. मैंने 24 कैरेट खाने योग्य सोने के साथ पुथारेकुलु बनाने का फैसला किया. हमने अक्षय तृतीया पर सोना पुथारेकुलु पेश किया.’ कई ग्रामीण अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपने व्यवसाय का विस्तार करने में मदद के लिए सरकार से वित्तीय सहायता चाहते हैं.

पूरा गांव है इस व्यवसाय पर निर्भर

पुथारेकुलु निर्माता ने आगे कहा, ‘अगर सरकार हमें अपना व्यवसाय बढ़ाने में मदद करती है तो यह फायदेमंद होगा. पूरा गांव इस व्यवसाय पर निर्भर करता है, जिससे हमारे बीच बहुत प्रतिस्पर्धा होती है. सरकार से वित्तीय सहायता के साथ, हम अन्य देशों में निर्यात कर सकते हैं और अपने व्यवसाय को ज्यादा विकसित कर सकते हैं.’ मिठाई बनाने से जुड़े लोगों के अनुसार, जीआई टैग के कारण उनकी दैनिक मजदूरी में बढ़ोतरी नहीं हुई है, लेकिन दुकान के मालिक और अन्य बड़े विक्रेता अच्छा मुनाफा कमा रहे हैं.

यह भी पढ़ें: Summer Special: गर्मियों में तरबूज तो बहुत खाते हैं क्या कभी खाया है इसका हलवा? जानिए रेसिपी

You may also like

Leave a Comment

Feature Posts

Newsletter

Subscribe my Newsletter for new blog posts, tips & new photos. Let's stay updated!

@2024 Live Time. All Rights Reserved.

Are you sure want to unlock this post?
Unlock left : 0
Are you sure want to cancel subscription?
-
00:00
00:00
Update Required Flash plugin
-
00:00
00:00