भारत और जापान के मध्य पर्यटन में सहयोग पर संयुक्त कार्य समूह (जेडब्ल्यूजी) की चौथी बैठक नई दिल्ली में आयोजित की गई. बैठक की सह-अध्यक्षता भारत सरकार के पर्यटन मंत्रालय की महानिदेशक मुग्धा सिन्हा और जापान पर्यटन एजेंसी (जेटीए) के आयुक्त हरैकावा नाओया ने की.
Delhi: भारत और जापान के मध्य पर्यटन में सहयोग पर संयुक्त कार्य समूह (जेडब्ल्यूजी) की चौथी बैठक नई दिल्ली में आयोजित की गई. बैठक की सह-अध्यक्षता भारत सरकार के पर्यटन मंत्रालय की महानिदेशक मुग्धा सिन्हा और जापान पर्यटन एजेंसी (जेटीए) के आयुक्त हरैकावा नाओया ने की. इस बैठक में दोनों देशों के अधिकारियों और निजी हितधारकों ने भाग लिया जिनमें एयरलाइंस, पर्यटन और यात्रा संघों और सरकारी संस्थानों के प्रतिनिधि शामिल थे.
प्रमुख संगठनों में जापान की ओर से जापान नेशनल टूरिज्म ऑर्गनाइजेशन (जेएनटीओ), जापान एसोसिएशन ऑफ ट्रैवल एजेंट्स (जेएटीए), जेटीटीआरआई, जापान एयरलाइंस और एएनए शामिल थे. भारतीय प्रतिनिधिमंडल में विदेश मंत्रालय, नागरिक उड्डयन मंत्रालय, शिक्षा मंत्रालय, एनसीएचएमसीटी, आईसीसीआर और निजी हित धारक जैसे इंडियन एसोसिएशन ऑफ टूर ऑपरेटर्स (आईएटीओ), आउटबाउंड टूर ऑपरेटर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (ओटीओएआई), एसोसिएशन ऑफ बुद्धिस्ट टूर ऑपरेटर्स शामिल थे. बैठक का उद्देश्य साथ कार्य करने के नए रास्तों और दोनों राष्ट्रों के मध्य पर्यटन संबंधों को बढ़ाना था.
दोनों देशों के पर्यटन स्थलों को और आकर्षक बनाने पर जोर
पर्यटन मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत ने जापानी प्रतिनिधिमंडल के स्वागत में रात्रिभोज का आयोजन किया. दोनों देशों के सह-अध्यक्षों ने आगंतुकों के प्रोफाइल पर नोट्स का आदान-प्रदान किया और दोनों देशों के बीच यात्रा करने वाले पर्यटकों के डेटा पर गहन चर्चा की जिसमें बौद्ध स्थलों पर जाने वाले पर्यटक भी शामिल हैं ताकि पर्यटन स्थलों को करोड़ों पर्यटकों के लिए और अधिक आकर्षक बनाने के लिए उपयुक्त नीति बनाई जा सके. भारत में जापान के राजदूत महामहिम ओनो केइची ने दोनों देशों के बीच मजबूत सांस्कृतिक संबंधों और समृद्ध पर्यटन के पारस्परिक लाभों पर जोर दिया.

बैठक के दौरान मुख्य चर्चा द्विपक्षीय पर्यटन को बढ़ाने पर केंद्रित थी जिसमें भारत में बौद्ध स्थलों को जापानी पर्यटकों के लिए बढ़ावा देना, हवाई संपर्क में सुधार करना और देश में जापानी छात्रों की यात्रा को प्रोत्साहित करना जैसी पहल शामिल थी. बैठक में निजी क्षेत्र की भागीदारी बढ़ाने और पर्यटकों की संख्या को बढ़ाने के लिए मीडिया और प्रभावशाली लोगों की भागीदारी का लाभ उठाने की रणनीतियों पर भी चर्चा की गई. दोनों पक्षों के प्रतिनिधिमंडल ने बहुमूल्य जानकारी साझा की और दोनों देशों के बीच पर्यटन क्षेत्र में सहयोग को मजबूत करने के लिए नए निवेश अवसरों पर चर्चा की.

बैठक के दौरान दोनों पक्षों द्वारा प्रदर्शित सहयोगात्मक भावना और प्रतिबद्धता से एक अधिक जीवंत पर्यटन व्यवस्था विकसित होने की उम्मीद है जो भारत और जापान के बीच आर्थिक और सांस्कृतिक आदान-प्रदान में महत्वपूर्ण योगदान देगी. भारत ने जापानी प्रतिनिधिमंडल को हाल ही में नए बनाए गए अतुल्य भारत डिजिटल पोर्टल में जापानी पर्यटकों के लिए विशिष्ट रूप से क्यूरेट किए गए यात्रा कार्यक्रम बनाने के लिए उनके साथ साझेदारी की संभावना के बारे में भी बताया.
पर्यटन मंत्रालय जल्द ही अतुल्य भारत मोबाइल ऐप कर रहा शुरू
यह भी संकेत दिया गया कि पर्यटन मंत्रालय जल्द ही अतुल्य भारत मोबाइल ऐप शुरू करने जा रहा है. बैठक सकारात्मक रूप से संपन्न हुई जिसमें आपसी बातचीत जारी रखने, सहयोग बढ़ाने और पर्यटन को द्विपक्षीय संबंधों और आपसी समृद्धि को बढ़ाने के लिए एक सेतु के रूप में इस्तेमाल करने की प्रतिबद्धता पर जोर दिया गया. भारत ने जापानी प्रतिनिधिमंडल को 22 से 28 सितंबर 2025 तक ओसाका में होने वाले विश्व एक्सपो में भाग लेने की अपनी योजना के बारे में भी बताया ताकि देश में विदेशी पर्यटकों की संख्या में वृद्धि करने के लिए व्यापक प्रयास किए जा सकें.
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