UP Police Digital Warriors: DGP प्रशांत कुमार ने कहा कि इन्फ्लुएंसर और छात्रों का नेटवर्क यानी डिजिटल वॉरियर्स साइबर अपराध से बचने के बारे में जागरूकता बढ़ाएंगे.
UP Police Digital Warriors: अब सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर और कॉलेज के छात्र पुलिस की मदद करेंगे. जी हां आपने सही सुना. इस पहल शुरुआत की गई है उत्तर प्रदेश पुलिस की ओर से. उत्तर प्रदेश पुलिस ने इनका नाम रखा है ‘डिजिटल वॉरियर्स’. यह डिजिटल वॉरियर्स साइबर अपराध के खिलाफ पुलिस की लड़ाई को मजबूत करने और फर्जी खबरों से निपटने के लिए मदद करेंगे.
महाकुंभ मेले के लिए पहली बार किया गया प्रयोग
उत्तर प्रदेश के DGP यानी पुलिस महानिदेशक प्रशांत कुमार ने शनिवार को इस बात की जानकारी दी है. उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर और कॉलेज के छात्रों का एक नेटवर्क यानी डिजिटल वॉरियर्स लोगों के बीच साइबर अपराधों से बचने के बारे में जागरूकता बढ़ाएंगे. साथ ही वह सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल होने वाली फर्जी खबरों का भी मुकाबला करेंगे. उन्होंने दावा किया कि डिजिटल वॉरियर्स आम नागरिकों को साइबर ट्रेनर के रूप में ट्रेनिंग भी देंगे.
इसके अलावा वह पुलिस के सराहनीय कार्यों और अभियानों का प्रचार करेंगे. इस दौरान उन्होंने फर्जी खबरों से निपटने के लिए महाकुंभ मेले से पहले उत्तर प्रदेश पुलिस की ओर से चलाए गए एक पायलट प्रोजेक्ट का हवाला दिया. उन्होंने दावा किया कि इन्फ्लुएंसर और कॉलेज के छात्र को शामिल कर शुरू किया गया प्रोजेक्ट एक महीने से चल रहा है और सफल भी रहा. अब इसे पूरे पूरे राज्य में लॉन्च किया गया है.
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वर्तमान में 10 लाख डिजिटल वॉलंटियर जुड़े
DGP प्रशांत कुमार ने कहा कि उत्तर प्रदेश पुलिस ने साल 2018 में ‘डिजिटल वॉरियर्स’ पहल की शुरुआत की गई थी. समाज के विभिन्न वर्गों के लोगों को डिजिटल वॉलंटियर के रूप में एक व्हाट्सएप ग्रुप के जरिए जोड़ा गया था. बाद में साल 2023 में व्हाट्सएप कम्युनिटी ग्रुप के जरिए सभी यूपी पुलिस के सभी कर्मियों को जोड़ा गया. उन्होंने बताया कि वर्तमान में करीब 10 लाख लोग डिजिटल वॉलंटियर के रूप में जुड़े हुए हैं और करीब 2 लाख पुलिसकर्मी कम्युनिटी ग्रुप के माध्यम से जुड़े हुए हैं.
इस दौरान DGP प्रशांत कुमार ने दावा किया कि सीमित पहुंच के कारण सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर इन्फ्लुएंसर और छात्रों को जोड़ने की जरूरत थी. अब उन्हें जोड़ा जा रहा है. साथ ही उन्होंने बताया कि अब इसके माध्यम से वर्कशाप का भी आयोजन किया जाएगा. इन कार्यशालाओं के जरिए आम लोगों को ट्रेनिंग दी जाएगी. साथ ही उन्होंने यह भी बताया कि स्कूलों और विश्वविद्यालयों में साइबर क्लब भी स्थापित किए जाएंगे.
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