Sambhal Shahi Jama Masjid Survey: शुक्रवार की नमाज के लिए लोगों के एकत्र होने से पहले उत्तर प्रदेश के संभल में शाही जामा मस्जिद के प्रवेश द्वार पर मेटल डिटेक्टर लगाए गए हैं.
Sambhal Violence : उत्तर प्रदेश के संभल जिले में शाही जामा मस्जिद सर्वे के दौरान रविवार (24 नवंबर, 2024) को हुई हिंसा के बाद से हालात काबू में हैं, लेकिन तनाव कायम है. इस बीच जुमे की नमाज को लेकर जिले में सुरक्षा व्यवस्था को चाक चौबंद रही. समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, 24 नवंबर को शाही जामा मस्जिद सर्वे को लेकर हुई पत्थरबाजी की घटना के बाद उत्तर प्रदेश के संभल में शुक्रवार की नमाज से पहले इलाके में सुरक्षा बढ़ा दी गई है. इलाके में RAF के जवान तैनात हैं. वहीं, अब तक संभल में इंटरनेट को अब तक बहाल नहीं किया गया है.
सुप्रीम कोर्ट में हुई सुनवाई
संभल की शाही जामा मस्जिद सर्वे के आदेश का मामला अब सुप्रीम कोर्ट में पहुंच गया है. आदेश के खिलाफ दायर याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में शुक्रवार को सुनवाई हुई. याचिका में 19 नवंबर को जिला कोर्ट की ओर से दिए गए सर्वे के आदेश को चुनौती दी गई है. उधर, संभल में जिला कोर्ट के बाहर भारी सुरक्षा बल तैनात हैं. उधर, सुप्रीम कोर्ट ने ट्रायल कोर्ट को आदेश दिया कि जब तक संभल मस्जिद की शाही ईदगाह कमेटी हाई कोर्ट नहीं जाती, तब तक मामले को आगे न बढ़ाया जाए. दरअसल, सुप्रीम कोर्ट ने कहा निचली अदालत की कार्रवाई पर फिलहाल रोक लगा दिया गया है.
वहीं, इस पूरे मामले में मुरादाबाद मंडलायुक्त आंजनेय कुमार सिंह (Moradabad Divisional Commissioner Anjaneya Kumar Singh) का कहना है कि शहर में सुरक्षा के चाक-चौबंद किए गए हैं. मंडलायुक्त ने आम लोगों से अपील की है कि शुक्रवार को जुमे की नमाज को वे अपने इलाके की मस्जिदों में ही जाएं. शाही जामा मस्जिद में न आएं. इसके साथ ही इलाके में सुरक्षा बलों के पैदल मार्च की भी जानकारी दी.
कोर्ट में जमा होगी सर्वे रिपोर्ट
उत्तर प्रदेश के संभल में जुमे की नमाज को लेकर पुलिस अलर्ट मोड पर है. सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई है. वहीं जामा मस्जिद में किए गए सर्वे की रिपोर्ट एडवोकेट कमिश्नर शुक्रवार को ही कोर्ट में जमा करेंगे. संभल हिंसा के बाद अब किसी भी अप्रिय घटना को रोकने के लिए जामा मस्जिद के पास और संवेदनशील इलाकों में भारी सुरक्षा बल तैनात किया गया है. स्थानीय पुलिस और जिला प्रशासन ने गुरुवार को जुमे की नमाज को लेकर मुस्लिम मौलवियों के साथ बैठक बुलाई थी. पुलिस ड्रोन से भी पूरे इलाकोें में निगरानी कर रही है. गौरतलब है कि 24 नवंबर को हुई हिंसा के बाद गुरुवार को पहली बार ज्यादातर दुकानें खुलीं, जिसमें चार लोगों की मौत हो गई और कई लोग घायल हो गए.
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