Home National कोर्ट में लंबित मामलों को लेकर CJI चंद्रचूड़ ने की चिंता व्यक्त! कहा- आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का किया जा रहा है इस्तेमाल

कोर्ट में लंबित मामलों को लेकर CJI चंद्रचूड़ ने की चिंता व्यक्त! कहा- आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का किया जा रहा है इस्तेमाल

by Sachin Kumar
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CJI Chandrachud expressed concern pending cases court Artificial Intelligence used

Pending Cases in Court : कोर्ट में लंबित मामलों पर सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़ ने चिंता व्यक्त की. उन्होंने कहा कि पेंडिंग केसों के निपटारे के लिए लोक अदालत का भी इस्तेमाल किया जा रहा है.

10 August, 2024

Pending Cases in Court : देश के कोर्ट में लंबित मामलों पर मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ (CJI DY Chandrachud) ने शनिवार को चिंता व्यक्त की. CJI ने शनिवार को कहा कि लंबित मामलों से निपटने के लिए अदालतों में बुनियादी ढांचे को मजबूत करने पर जोर दिया है. इसके अलावा अदालती मामलों की संख्या कम करने के लिए लोक अदालतों जैसे विभिन्न माध्यमों से पेंडिंग केसों का निपटारा किया जा रहा है. डीवाई चंद्रचूड़ ने आगे कहा कि कोर्ट के फैसलों को क्षेत्रीय भाषाओं में ट्रांसलेट करने के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) जैसी आधुनिक तकनीक का इस्तेमाल किया जा रहा है.

न्यायालयों में आस्था के कारण केसों की संख्या बढ़ी

भारत के मुख्य न्यायाधीश स्नातकोत्तर चिकित्सा शिक्षा एवं अनुसंधान संस्थान (PGIMER) के दीक्षांत समारोह के मौके पर मीडिया से बात कर रहे थे. लंबित मामलों पर पूछे गए सवाल का जवाब देते हुए सीजेआई ने कहा कि अस्पतालों की तरह लोगों का न्यायालयों पर भी भरोसा है, जो मामलों की संख्या में वृद्धि का एक कारण है. उन्होंने कहा कि जिस तरह से अस्पतालों में मरीजों की संख्या बढ़ती है, उसी तरह से न्यायालयों में केसों की संख्या बढ़ रही है. इसका क्या कारण हो सकता है? अस्पतालों में लोगों की आस्था है, इसलिए मरीजों की संख्या बढ़ती है. ऐसे ही लोगों की आस्था न्यायालयों में भी बढ़ रही है, तो वहां भी संख्या बढ़ रही है.

लोक अदालत में 1 हजार केसों का निपटारा हुआ

डीवाई चंद्रचूड़ ने जोर देते हुए कहा कि पिछले हफ्ते एक लोक अदालत आयोजित की गई थी, जिसमें पांच दिनों में करीब 1 हजार मामलों का निपटारा किया गया. उन्होंने बताया कि इस साल गर्मियों की छुट्टियों के दौरान सुप्रीम कोर्ट की 21 बेंचों ने काम किया और 4 हजार मामलों में सुनवाई की गई, जिसमें 1170 केसों का निपटारा किया गया. सीजेआई ने कहा कि विभिन्न स्तरों पर मामलों की संख्या को कम करने में लगे हुए हैं. साथ ही भाषा पर जोर देते हुए कहा कि मामलों को आसानी से समझने के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस की मदद से फैसलों को क्षेत्रीय भाषा में अनुवाद किया जा रहा है.

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